बंद गोभी में आई भयंकर मंदी से किसान के पैर उखड़े
हापुड़, सीमन (ehapurnews.com): एक तो पहले से ही किसान वर्षा व ओलावृष्टि से नष्ट हुई गेहूं, सरसों तथा आलू की मार झेल रहा है, और अब बंद गोभी में आई भयंकर मंदी ने किसान को बुरी तरह मार दिया है। किसान को बंद गोभी का लागत मूल्य भी नहीं मिल रहा है। जनपद का किसान बड़ी उम्मीद के साथ बंद गोभी लेकर बेचने हेतु मंडी में पहुंचता है, परंतु किसान को गोभी कई-कई दिन तक नहीं बिक पाती है और बिकती भी है उसके बाद किसान को 30-40 रुपए प्रति बोरा बंद गोभी का दाम मिलता है। एक बोरे में 50-55 किलों गोभी होती है, यानि कि हापुड़ मंडी मे बंद गोभी एक रुपए प्रति किलो से भी कम बिक रही है। कृषि उत्पाद का लागत मूल्य भी न मिलने से किसान परेशान है। बंद गोभी किसान या तो पशुओं को खिला रहा है अथवा खड़ी फसल को खेत में जोत रहा है।
जनपद हापुड़ के गांव सीतादेई के किसान सौरभ सिद्धू का कहना है कि जब बंद गोभी की फसल से उसके कोई लाभ नहीं मिला तो उसने बंद गोभी को खेत में ही जोतने का निर्णय लिया, ताकि वह हरा चारा बो सके। किसान की मांग है कि सरकार किसानों की भलाई के लिए ठोस कदम उठाए।