हापुड़, सीमन (ehapurnews.com) : जनपद हापुड़ में सरकारी गेहूं खरीद लक्ष्य पूरा होना टेढ़ी खीर दिखाई पड़ रहा है। गेहूं खरीद में लगे अफसर व कर्मचारी खरीद लक्ष्य को पूरा करने के लिए किसानों की मिन्नतें करने में जुटे है,, परंतु गेहूं उत्पादकक अफसरों की सुनने के तैयार नहीं है।
गेहूं का सरकारी समर्थन मूल्य 2015 रुपए प्रति क्विंटल घोषित है और जनपद हापुड़ में गेहूं का खरीद लक्ष्य 36 हजार मीट्रिकक टन निर्धारित किया गया है। खरीद लक्ष्य पूरा करने के लिए 30 क्रय केंद्र जनपद में खोले गए है, पंरतु जनपद का किसान सरकार गेहूं देने के लिए राजी नहीं है जिस कारण खरीद लक्ष्य पिछड़ रहा है और पूरा होना टेढ़ी खीर दिखाई पड़ रहा है।
सरकार को गेहूं न मिलने का कारण- जनपद हापुड़ में गेहूं का दाम सरकारी समर्थन मूल्य के मुकाबले 2200-2300 रुपए प्रति क्विंटल मिल रहा है,, ऐसे में किसान 200-250 रुपए प्रति क्विंटल की कसर क्यों खाएगा किसान ने गेहूं अपने पास रोक रखा है और वह अभी भी और तेजी की आस लगाए बैठा है।
कहां जा रहा है गेहूं- जनपद हापुड़ में छोटी-बड़ी करीब 50 आटा यूनिटें है जिन्हें रोजाना खपत के लिए 4-5 हजार क्विंटल गेहूं की जरुरत होती है, जिसे वे खुले बाजार से पूरी करते है इसके अतिरिक्त स्टाकिस्ट उपभोक्ता भी गेहूं ले रहा है।
ऐसे मिल रहा है तेजी को बल- यूक्रेन व रुस में जारी गोलीबारी के कारण अनेक अफवाहें जन्म ले रही है और कहा जा रहा है कि विदेशों की मांग को पूरी करने के लिए विदेशी कम्पनियां गेहूं को खीच रही है जिस वजह से गेहूं के भावों में तेजी का रुख बना है।
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